नमस्कार दोस्तों इस पोस्ट मे आज हम बात करेगे की Balance Sheet क्या है 2023 तथा Balance Sheet कैसे बनाते हैं। दोस्तों यदि आप को किसी Company की आर्थिक स्थिति (Financial Position) को जानना है। तो आप को सबसे पहले उस Company की Balance Sheet को पढ़ना होगा। तभी आप को ज्ञात होगा कि Company को लाभ हो रहा है या हानि। अब तो आप समझ ही गए होगे की Balance Sheet किसी Company वित्तीय स्थिति होती है।
यदि आप किसी एसे कार्य क्षेत्र मे काम करते हैं। जहां पर किसी Company या फर्म की आर्थिक स्थिति और वित्तीय स्थिति को जाँचा और परखा जाता है। तो आप को Balance के बारे में संपूर्ण जानकारी होना आवश्यक है। इसलिए आज हम Balance sheet kya hai in hindi के बारे में जानेगे।
Golden Rules of Accounting in Hindi PDF Download पूरी जानकारीआर्थिक चिट्ठा (Balance Sheet) क्या है।
किसी व्यवसाय की Financial Position को ज्ञात करने के लिए तैयार किया गया। स्थिति विवरण ही Balance Sheet कहलाता है। Balance Sheet को हिंदी में आर्थिक चिट्ठा, तुलन पत्र या स्थिति विवरण भी कहते हैं। जैसा कि नाम से पता चलता है – स्थिति विवरण अर्थात एक ऐसा स्थिति विवरण पत्र जिससे व्यापार की आर्थिक स्थिति जैसे :- व्यापार की सम्पत्तियाँ, दायित्व, लेनदार व देनदार आदि का ज्ञान आसानी से हो जाता है। तो ऐसे विवरण पत्र को Balance Sheet कहते हैं।
इसे हम और सरल भाषा मे समझते हैं। किसी व्यापार में व्यापारिक खाता और लाभ – हानि खाता बनाने के बाद किसी व्यापारी को अपने व्यापार की वास्तविक आर्थिक स्थिति जानने की आवश्यकता होती है। सकल लाभ (Net Profit) ज्ञात करने के बाद व्यापारी य़ह भी जानना चाहता है।
की व्यापार मे कितनी पूँजी है।, सम्पत्तिया कितनी है।, किन व्यक्तियों से रुपया लेना है।, किन व्यक्तियों को रुपया देना है।, व्यापार मे कितना लोन लिया है। बैंक बैलेंस क्या है। आदि जानकारी प्राप्त करने के लिए व्यापारी एक निर्धारित तिथि को व्यापार की सम्पत्ति और दायित्वों का एक एक विवरण पत्र तैयार करता है। और इस विवरण पत्र को ही आर्थिक चिट्ठा (Balance Sheet) कहते हैं।
इस प्रकार हम कह सकते हैं। की आर्थिक चिट्ठा (Balance Sheet) एक खाता नहीं है। अपितु व्यापार की सम्पत्तियों और दायित्वों का एक विवरण – पत्र है।
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आर्थिक चिट्ठा (Balance Sheet) बनाने के उद्देश्य या लाभ।
1. Balance Sheet से व्यापारी को व्यापार की सम्पूर्ण आर्थिक स्थिति का ज्ञान आसानी से हो जाता है।
2. Balance Sheet से व्यापारी यह आसानी से ज्ञात कर सकता है। की व्यापार पर अभी सुरक्षित और असुरक्षित ऋण (secured Loans and Unsecured Loans) कितना है।
3. Balance Sheet से व्यापारी को व्यापार की Cash की जानकारी आसानी से प्राप्त हो जाती है। जैसे :- Cash में वृद्धि हो रहीं हैं। या कमी
4. Balance Sheet से व्यापारी को व्यापार के अंतिम स्कंध (Closeing Stock) की जानकारी आसानी से हो जाती है।
5. Balance Sheet से य़ह आसानी से ज्ञात हो जाता है। की व्यापार में देनदारो और लेनदारों की क्या स्थिति है।
6. Balance Sheet व्यापारी को Company की वर्तमान और संभावित वित्तीय स्थिति दर्शाती है। अर्थात Balance Sheet अल्पकालिक और दीर्धकालिक वित्तीय अनुपातों की गणना करने के लिए पर्याप्त जानकारी प्रदान करती है।
7. चल सम्पत्तियो और चल दायित्वो के अंतर को कार्यशील पूँजी कहते है। Balance Sheet से व्यापारी को चल सम्पत्तियो और चल दायित्वो की जानकारी आसानी से प्राप्त हो जाती है। कार्यशील पूँजी, व्यापार की दैनिक आवश्यकताओ की पूर्ति करने के लिए जरुरी होती है। यह व्यापार की कार्यशील पूँजी की राशी के सम्बन्ध जानकारी प्रदान करती है।
8. Balance Sheet से व्यापारी को व्यापार की कार्यकारी क्षमता की जानकारी प्राप्त होती है।
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Balance Sheet बनाने का उद्देश केवल व्यापार की स्थिति को जाँचना होता है। इसलिए इसमे केवल Assets/सम्पत्ति और Liabilities/दायित्व वाली मदों शामिल किया जाता है। जिससे कि Business के हित में उचित निर्णय लिये जा सके।
य़हा पर Liabilities और Assets की कुछ महत्त्वपूर्ण मदो को दर्शाया गया है। जिनका उपयोग लगभग सभी व्यवसाय में होता है। इसलिए आप ईन मदों को Note कर ले। तथा किसी भी व्यवसाय की Balance Sheet पढ़ै और समझे।
Balance Sheet के Liabilities पक्ष में शामिल होने वाली मदे।
Share Capital (अंश पूँजी)
Equity Share Capital (समता अंश पूँजी )
Preference Share Capital (पूर्वाधिकार अंश पूँजी)
Reserve And Sur-Plus Income (संचित एवं आधिक्य)
General Reserve (सामान्य संचित)
Capital Reserve (पूँजी आय)
P/L for Cr. (लाभ-हानि जमा)
Security Premium (प्रतिमूर्ति प्रब्याज)
Secured Loans (सुरक्षित ऋण)
Bank Loan (अधिकोष ऋण)
Mortgage Loan ( बन्धक ऋण )
Bonds (बंधन) Debenture (ऋणपत्र)
Current Liabilities (चालु दायित्व)
Creditor (लेनदार)
Short Term Loan (अल्पकालीन ऋण)
Outstanding Expense (अदत्त व्यय)
Duties & Taxes (कर एव शुल्क )
Bank Overdraft ( बैंक अधिविकर्ष)
Advance Income (अग्रिम आय)
Bill Payable (देय विपत्र )
Provisions ( प्रावधान)
Provision For Taxation (करो के लिए प्रावधान )
Provision For Repairs ( मरम्मती के लिए प्रावधान )
Provision For Bad Debts (अप्राप्य ऋण के लिए प्रावधान )
- अप्रत्यक्ष व्यय (indirect Expenses) क्या है। पूरी जानकारी हिन्दी में
- अप्रत्यक्ष आय (indirect income) क्या है। पूरी जानकारी हिंदी में
Balance Sheet के Assets पक्ष में शामिल होने वाली मदे।
Fixed Assets (स्थायी सम्पत्ति)Land And Building (भूमि और बिल्डिंग )Vehicles-car, vans, truck (सभी वाहन )Plant And Machinery (मशीनरी )Furniture And Fixtur (फर्नीचर )Patent Right (पेटेंट )Trade Marks (ट्रेड मार्क )Goodwill (ख्याति )Current Assets (चालू सम्पत्ति) Cash (नगद)Bank Balance (बैंक राशि )Debtors (देनदार )Investments (निवेश )Bills Receivable (प्राप्त विपत्र )Accrued Income (अर्जित आय )Miscellaneous Expenditure (विविध व्यय )Closing Stock (अंतिम स्कंध )Balance Sheet का प्रारूप।
Tally Prime में Balance Sheet कैसे देखे।
दोस्तों यदि आप एकाउंटिंग के लिए Tally का प्रयोग कर रहे है। तो आप को Balance Sheet बनांने की जरुरत नहीं है। क्योकि Tally में Balance Sheet अपने आप तैयार होती है। बस शर्त यह है। की आप जो भी Entry Tally में कर रहे है। वह सही होनी चाहिए
इसलिए जब भी आप Tally में कोई Entry पास कर रहे हों। तो ध्यान रखना चाहिए। की आप के द्वारा खोले गए सभी खाते (Ledgers) सही है। यदि आप Ledgers Create करने समय Ledgers को Group देने में कन्फूज रहते है। तो आप निचे दिए गए पोस्ट को पढ़े
Tally में Ledger को Group कैसे दे |
जब भी हम Tally में Company Select करते है। तो हमारे सामने Gateway of Tally की स्क्रीन दिखाई देती है। जिसमे से हमें Balance Sheet ऑप्शन पर Enter करना है। जिससे हमारे सामने कंपनी की Balance Sheet Open हो जायगी।
Tally Prime में Balance Sheet का प्रारूप।
Balance Sheet कब बनायी जाती है।
Balance Sheet ज्यादातर वित्तीय वर्ष के अंत में अंतिम खाते बनाते समय बनाई जाती है। अंतिम खाते में सबसे पहले Trading Account तैयार किया जाता है। उसके बाद Profit and Loss Account बनाया जाता है। तथा सबसे अंत में Balance Sheet बनाई जाती है।
जिस प्रकार Trading Account से हमे कंपनी के Gross Profit और Closeing Stock का ज्ञान होता है। तथा Profit and Loss Account से हमे कंपनी के Net Profit का ज्ञान होता है।
ठीक उसी प्रकार Balance Sheet से हमे कंपनी की सम्पूर्ण आर्थिक स्थिति का ज्ञान होता है। यदि देखा जाए तो Balance Sheet किसी कंपनी का आयना होती है। जिसमें हम आसानी से देख सकते हैं। की कंपनी पर कितना कर्ज है। कंपनी मे कितनी Fixed Assets है। Bank Balance और Cash Balance की क्या स्थिति है। आदि जानकारी हमे Balance Sheet से प्राप्त होती है।
अक्सर पूछे जाने वाले प्रश्न
Balance Sheet कब तैयार की जाती है।किसी Company या संगठन द्वारा Balance Sheet वित्तीय वर्ष के अंत में 31 मार्च को बनाई जाती है। परन्तु किसी विशेष परिस्थिति में व्यापारी अपने Business की Financial Position देखने के लिए किसी भी तिथि को Balance बना सकता है।
Balance Sheet का मतलब क्या होता है।Balance Sheet का मतलब किसी Company की हालत या सेहत को देखना होता है। की Company किसी तरह ग्रोथ कर रहीं हैं। क्या Company के Assets से ज्यादा Liabilities तो नहीं है। आदि की जानकारी Balance से पता चलती है।
Balance Sheet से पहले कोन से खाते बनाये जाते हैं।व्यापारी द्वारा अंतिम खाते (Final Account) तैयार करते समय सबसे निम्न प्रकार खाते बनाये जाते हैं।
1. व्यापार खाता (Trading Account) या निर्माण खाता (Manufacturing Account)
2. लाभ-हानि खाता (Profit and Loss Account)
3. पूँजी खाता (Capital Account)
4. आर्थिक चिट्ठा या तुलन पत्र (Balance Sheet)
Balance Sheet सबसे अंत में तैयार की जाती है।
Balance Sheet में कितने भाग होते हैं।बेलेंस शीट मे दो भाग होते हैं। Left Side मे Liabilities और रकम तथा Right Side मे Assets और रकम के खाने होते हैं।
Conclusionनमस्कार दोस्तों आशा करता हू। की आप को मेरा पोस्ट बहुत पसंद आया होगा। जिसमें मैंने आप को बहुत ही आसान Steps मे बताया कि Balance Sheet क्या है तथा Balance Sheet कैसे बनाते हैं। दोस्तो यदि आप को इस पोस्ट मे किसी बात को समझने मे परेशानी होती है। तो आप मुझे Comment Box मे पूछ सकते हैं। और दोस्तों पोस्ट को ज्यादा से ज्यादा सोशल नेटवर्क जैसे :- Facebook, Twitter, Instagram, Whatsup आदि के माध्यम से शेयर करे। ताकी अन्य लोगों को भी Accounting और Tally से संबंधित नई-नई जानकारी मिलती रहे।धन्यवाद……….
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हेलो दोस्तो, मेरा नाम विकास जरीवाला है। और मै एक प्रोफेशनल अकाउंटेंट हु। दोस्तो इस ब्लॉग पर मे Accounting, Tally Prime, Technology और Commerce Stream से जुड़े लेख लिखता हू।
Thanks
Welcome
you have given very good knowledge
Thanks For The information
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